टीवी इंडस्ट्री के सबसे चर्चित शो ‘बिग बॉस’ को इस बार कोविड के चलते ओटीटी प्लेटफॉर्म पर भी लॉंच किया गया था। इस दौरान शो ने काफी सुर्खियां बटोरी थीं, इसकी वजह थीं उर्फी जावेद। अक्सर अपने फैशन सेंस को लेकर सुर्खियों में रहने वाली उर्फी एक बार फिर चर्चाओं का केंद्र बन गई हैं। बिग बॉस फेम उर्फी जावेद ने हाल ही में अपनी शादी को लेकर अटपटा सा बयान दिया है। उन्होंने कहा कि वे मुस्लिम लड़के से शादी नहीं करेंगी।
‘मैं मुस्लिम लड़की हूं’
इंडिया टुडे से बातचीत के दौरान उर्फी ने अपनी शादी को लेकर खुलकर बात की। उन्होंने बताया कि उनका समाज उनके बोल्ड लुक को स्वीकार नहीं कर पाता है। इसकी वजह बताते हुए एक्ट्रेस ने कहा कि इंडस्ट्री में उनका कोई गॉडफादर नहीं है और सबसे बड़ी बात कि वे मुस्लिम हैं। उन्होंने कहा कि, ‘मैं मुस्लिम लड़की हूं। जब भी लोग सोशल मीडिया पर मुझ पर गंदे कमेंट्स करते हैं तो उसमें ज्यादातर मुस्लिम लोग होते हैं। उन लोगों को लगता है कि मैं इस्लाम की छवि खराब कर रही हूं। वे मुझसे नफरत करते हैं क्योंकि मुस्लिम पुरुष चाहते हैं कि उनकी महिलाओं को एक निश्चित तरीके से व्यवहार करना चाहिए।’
महिलाओं को दबाना चाहते हैं मुस्लिम
मुस्लिमों की मानसिकता एवं उनकी सोंच के विषय में बात करते हुए उर्फी जावेद ने बंधन का आरोप लगाया। उन्होंने कहा कि मुस्लिम मर्द समुदाय की सभी महिलाओं को कंट्रोल करना चाहते हैं। धार्मिक कट्टरता के विषय में बात करते हुए उर्फी ने कहा कि मैं इस्लाम को नहीं मानती हूं।
इसके अलावा उर्फी ने ट्रोल किये जाने के सवाल पर कहा कि वे चाहते हैं कि मैं हिसाब से व्यवहार करूं लेकिन मैं नहीं करती। वे चाहते हैं कि मैं उस तरह से पेश आऊं, जैसा कि वे लोग धर्म के हिसाब से मुझसे उम्मीद करते हैं।’
मुस्लिम लड़के से नहीं करुंगी शादी
इस दौरान उर्फी ने अपनी आने वाली जिंदगी के विषय में भी चर्चा की। उन्होंने अपने होने वाले शौहर के विषय में पूछे गए सवाल पर बड़ा ही अतरंगी जवाब दिया। उन्होंने कहा कि ‘मैं कभी मुस्लिम लड़के से शादी नहीं करूंगी। मैं इस्लाम में विश्वास नहीं करती हूं और मैं किसी भी धर्म को फॉलो नहीं करती हूं, इसलिए मुझे परवाह नहीं है कि मैं किससे प्यार करती हूं। हम जिससे चाहें उससे शादी कर लें।’
मेरे पिता रुढ़ीवादी थे
गौरतलब है, कट्टरपंथ और रुढ़िवाद पर निशाना साधते हुए उर्फी ने अपने पिता के विषय में बात की। एक्ट्रेस ने आपबीती सुनाते हुए कहा कि ‘मेरे पिता बहुत ही रुढिवादी व्यक्ति थे। जब मैं 17 साल की थी तो वह मुझे और मेरे भाई-बहनों को मां के साथ छोड़ दिया। अपनी मां के बारे में बताते हुए उर्फी ने कहा कि मेरी मां बहुत धार्मिक महिला हैं, लेकिन उन्होंने कभी भी हम पर धर्म को नहीं थोपा।
मैं गीता पढ़ रही हूं-उर्फी
बता दें, धर्म को लेकर उर्फी का मानना है कि धर्म को मानने के लिए किसी को मजबूर नहीं किया जाना चाहिए। सभी को अपने हिसाब से धर्म चुनने और उसे फॉलो करने का अधिकार है। इसके अलावा उर्फी ने अन्य धर्मों पर बात करते हुए खुलासा किया कि वे इस वक्त भगवद गीता पढ़ रही हैं। उन्होंने कहा कि मुझे धर्मों के बारे में जानना अच्छा लगता है। इस वक्त मैं भगवद गीता पढ़ रही हूं।